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Bulandshahr News: भीषण गर्मी और बिजली की कटौती से बच्चों का बुरा हाल, कई बच्चे उल्टी और चक्कर खाकर गिरे

विद्यालय के शिक्षकों का कहना है कि पांच कमरों में 350 बच्चे पढ़ने को मजबूर हैं। ऊपर से बिजली की कटौती से परेशानी और बढ़ गई है।

By: Satyam Dubey  RNI News Network
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Bulandshahr News: भीषण गर्मी और बिजली की कटौती से बच्चों का बुरा हाल, कई बच्चे उल्टी और चक्कर खाकर गिरे

यूपी के बुलंदशहर में ‘प्राथमिक विद्यालय पहासू नंबर वन’ के क्लास रूम में क्षमता से तीन गुना ज्यादा बच्चे पढ़ने को मजबूर हैं। भीषण गर्मी से बच्चों का बुरा हाल है। बच्चों को भीषण गर्मी का सामना तो करना ही पड़ रहा है। वहीं बिजली की कटौती से भी परेशानी और बढ़ गई है। जिससे बच्चों के बीमार होने का भी मामला सामने आ रहा है। यहां कई बच्चों को उल्टीयां हुईं तो कई बच्चे चक्कर खाकर गिर गए। जिसके बाद क्लासरूम में दूसरे बच्चों के कॉपी और किताब से हवा करने का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ है।

विद्यालय के शिक्षकों का कहना है कि पांच कमरों में 350 बच्चे पढ़ने को मजबूर हैं। ऊपर से बिजली की कटौती से परेशानी और बढ़ गई है। प्राथमिक विद्यालय पहासू नंबर वन के प्रधानाध्यापक गिरीश शर्मा से जब यूपी की बात की टीम ने बच्चों के उल्टी के बारे में पूछा तो उन्होंने कहा कि इसकी वजह हमारे यहां (प्राथमिक विद्यालय पहासू न.1) कमरों का कम होना है। उन्होंने बताया कि यहां विद्यालय का कमरा और बारामदा टूटा है तो इसके बाद नए भवन का निर्माण नहीं किया गया। उन्होंने कहा कि किसी भी बच्चे की हालत ज्यादा खराब हुई तो इसका जिम्मेदारा शासन और प्रशासन होगा।

विद्यालय की सहायक अध्यापक योगिता सिंह से जब यूपी की बात के संवाददाता ने इस मामले पर पूछा तो उन्होंने कहा कि विद्यालय में बच्चों की संख्या बहुत ज्यादा है। उन्होंने कहा कि उसके हिसाब से न तो विद्यालय में बच्चों के लिए कमरे हैं और ना ही कोई बैठने की व्यावस्था है। इस वक्त बच्चों की बहुत ज्याद स्ट्रेंथ है, जिससे बच्चे न तो ठीक से बैठ पा रहे हैं और लाइट की व्यवस्था भी ठीक नहीं है जिसकी वजह से बच्चे बीमार हो रहे हैं। उन्होंने कहा कि हम लोगों ने स्थिति से शासन और प्रशासन को भी अवगत करा दिया है, जिसपर अभी कोई पहल नहीं हुई है। बच्चों की गंभीर स्थिति का जिम्मेदार उन्होंने प्रशासन को बताया।

जब उनसे पूछा गया कि सरकार तो बड़े-बड़े दावे कर रही है कि सभी स्कूलों को बड़ी अच्छी सुविधा दी गई है, पैसा मुहैया कर रहे हैं, उनसे पूछा गया कि क्या यहां सरकारी पैसा नहीं आया है, जिससे बच्चों को सुविधा मुहैया करा सकें। इस सवाल जा जवाब देते हुए उन्होंने कहा कि हम लोगों ने इन परेशानियों को कई बार शासन को लिखित में भेजा है और प्रशासन को भी भेजा है लेकिन हर बार वादा होता है लेकिन आज तक उस पर कोई कार्यवाही नहीं हुई है और ना ही कोई पैसा आया है स्कूल में काम के लिए। उन्होंने कहा कि हम लोग तो बच्चों को पढ़ाने के लिए आते हैं, जो सुविधा है वो तो प्रशासन को ही मुहैया करानी पड़ेगी।

बुलंदशहर से संवाददाता चंद्रपाल सिंह की रिपोर्ट।

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