1. हिन्दी समाचार
  2. उत्तर प्रदेश
  3. Lucknow: यूपी में विकास की रफ्तार तेज़, 30 जून तक सभी जनपदों से योजनाओं के प्रस्ताव अनिवार्य

Lucknow: यूपी में विकास की रफ्तार तेज़, 30 जून तक सभी जनपदों से योजनाओं के प्रस्ताव अनिवार्य

Lucknow: उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने लोक निर्माण विभाग की प्रमुख योजनाओं की समीक्षा करते हुए सभी जिलों को 30 जून तक प्रस्ताव भेजने के निर्देश दिए। उन्होंने सभी 403 विधानसभा क्षेत्रों तक विकास योजनाओं की पहुंच सुनिश्चित करने, धार्मिक पर्यटन स्थलों को बेहतर सड़कों से जोड़ने, सड़क सुरक्षा पर बल देने और मानसून से पहले तैयारियों को दुरुस्त करने के निर्देश दिए।

By: Desk Team  RNI News Network
Updated:
Lucknow: यूपी में विकास की रफ्तार तेज़, 30 जून तक सभी जनपदों से योजनाओं के प्रस्ताव अनिवार्य

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अपने सरकारी आवास पर एक उच्चस्तरीय बैठक में लोक निर्माण विभाग (PWD) की 18 प्रमुख योजनाओं की समीक्षा की। बैठक में वरिष्ठ अधिकारियों, जिलाधिकारियों, जनप्रतिनिधियों और संबंधित विभागीय अधिकारियों ने वर्चुअल माध्यम से सहभागिता की।

मुख्यमंत्री ने निर्देश दिया कि प्रदेश के सभी 75 जनपदों से 30 जून तक विकास योजनाओं के प्रस्ताव अनिवार्य रूप से प्राप्त किए जाएं। जिलाधिकारी स्थानीय जनप्रतिनिधियों से समन्वय कर स्थानीय जरूरतों के अनुरूप प्रस्ताव तैयार करें। सीएम ने स्पष्ट कहा कि विकास का लाभ राजनीतिक सीमाओं के अनुसार नहीं, बल्कि ज़मीनी जरूरतों के अनुसार सुनिश्चित किया जाए।

योगी आदित्यनाथ ने समावेशी विकास पर बल देते हुए निर्देशित किया कि राज्य के सभी 403 विधानसभा क्षेत्रों को कम से कम 2-3 योजनाओं का प्रत्यक्ष लाभ अवश्य मिले। उन्होंने यह भी कहा कि सभी विकास कार्यों का भूमि पूजन या शिलान्यास स्थानीय जनप्रतिनिधियों के माध्यम से कराया जाए ताकि जनभागीदारी को बढ़ावा मिले।

धार्मिक पर्यटन को आर्थिक विकास से जोड़ते हुए उन्होंने कहा कि प्रत्येक वर्ष टॉप-50 धार्मिक स्थलों का चयन किया जाए और उनसे जुड़ी सड़कों का निर्माण/सुदृढ़ीकरण प्राथमिकता पर हो। इससे श्रद्धालुओं की सुविधा के साथ-साथ स्थानीय अर्थव्यवस्था को भी बल मिलेगा।

सीएम योगी ने पूर्वांचल, यमुना, आगरा, बुंदेलखंड और गंगा एक्सप्रेस-वे की सफलता का उल्लेख करते हुए कहा कि अब उत्तर और दक्षिण जिलों को जोड़ने के लिए एकीकृत सड़कों की योजना बनानी चाहिए। इससे राज्य के आंतरिक समन्वय और संपर्क को मजबूती मिलेगी।

उन्होंने प्रदेश में गड्ढा मुक्त सड़कों की आवश्यकता पर बल देते हुए कहा कि सभी डार्क स्पॉट्स की पहचान की जाए और जरूरत के अनुसार स्पीड ब्रेकर लगाए जाएं। उन्होंने जलभराव से प्रभावित इलाकों के लिए पहले से प्रस्ताव तैयार करने को कहा ताकि बरसात के बाद तुरंत काम शुरू हो सके।

हर जिले में एक नोडल अधिकारी नियुक्त करने और साप्ताहिक समीक्षा सुनिश्चित करने के भी निर्देश दिए गए। मासिक और द्विमासिक समीक्षा बैठकों में जनप्रतिनिधियों की भागीदारी अनिवार्य की गई।

मुख्यमंत्री ने ईमानदारी, पारदर्शिता और जनसहभागिता को विकास की कुंजी बताया और निर्देश दिए कि संदिग्ध ठेकेदारों को चिन्हित कर कार्रवाई की जाए।

ज्ञातव्य है कि लोक निर्माण विभाग की 18 योजनाएं मुख्य मार्गों, स्टेट हाईवे, धार्मिक और औद्योगिक क्षेत्रों की सड़कों, फ्लाईओवर, सेतु, बाईपास, ग्राम सड़क योजनाओं और नॉर्थ-साउथ कॉरिडोर जैसी महत्वपूर्ण परियोजनाओं को शामिल करती हैं।

इन टॉपिक्स पर और पढ़ें:
Hindi News से जुड़े अन्य अपडेट लगातार हासिल करने के लिए हमें गूगल न्यूज़, फेसबुक, यूट्यूब और ट्विटर पर फॉलो करे...