गाजियाबाद के इंद्रापुरम स्थित न्याय खंड-1 की प्रमुख रिहायशी सोसाइटी सुपरटेक आइकन इन दिनों बारिश के बाद होने वाले जलभराव की गंभीर समस्या से जूझ रही है। सोसाइटी के मुख्य द्वार के सामने बारिश का पानी घंटों तक जमा रहता है, जिससे स्थानीय निवासियों को भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है।
गाजियाबाद के इंद्रापुरम स्थित न्याय खंड-1 की प्रमुख रिहायशी सोसाइटी सुपरटेक आइकन इन दिनों बारिश के बाद होने वाले जलभराव की गंभीर समस्या से जूझ रही है। सोसाइटी के मुख्य द्वार के सामने बारिश का पानी घंटों तक जमा रहता है, जिससे स्थानीय निवासियों को भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। स्थानीय लोगों के अनुसार, हल्की बारिश के बाद भी सड़क पर पानी भर जाता है। जलनिकासी की समुचित व्यवस्था न होने के कारण सड़कों पर गंदा पानी जमा हो जाता है, जिससे न केवल राहगीरों को परेशानी होती है, बल्कि वाहन चालकों के लिए फिसलन और दुर्घटना का खतरा भी बना रहता है | निवासियों ने बताया कि नगर निगम की टीम समय-समय पर आती तो है, लेकिन केवल ऊपरी सफाई कर निकल जाती है। नालों की गहराई से सफाई नहीं होती, और स्थायी समाधान की दिशा में कोई कदम नहीं उठाया गया है। शिकायतों के बावजूद नगर निगम की निष्क्रियता से लोग बेहद नाराज़ हैं।
स्वास्थ्य और सुरक्षा पर भी खतरा
सड़क पर भरे गंदे पानी से मच्छरों का प्रकोप बढ़ रहा है, जिससे डेंगू व मलेरिया जैसे रोगों की आशंका गहराती जा रही है। कई बार दोपहिया वाहन चालक पानी में गिरकर घायल हो चुके हैं। वहीं, जलभराव के कारण स्कूल जाने वाले बच्चों और वरिष्ठ नागरिकों को भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है।
स्थानीयों लोगों की मांगें:
स्थानीयों लोगों की मांगें है कि नालियों की गहराई से नियमित रुप से सफाई कराई जाए और बारिश में भरने वाले जलनिकासी की स्थायी व्यवस्था की जाए साथ ही नगर निगम मानसून से पहले सड़कों और ड्रेनेज की जांच करे।गाजियाबाद के इंद्रापुरम जैसे विकसित इलाके में जलभराव की यह स्थिति प्रशासनिक लापरवाही का प्रतीक बन चुकी है। अगर समय रहते उचित कदम नहीं उठाए गए, तो आने वाले दिनों में यह समस्या और भी विकराल रूप ले सकती है।
गाजियाबाद से आकांक्षा पाण्डेय की रिपोर्ट