नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट, जो जेवर में बन रहा है, देश का पहला ऐसा एयरपोर्ट होगा जिसे चालू होने से पहले ही तीन एक्सप्रेसवे से जोड़ा जा रहा है। अब इसे गंगा एक्सप्रेसवे और पूर्वांचल एक्सप्रेसवे से जोड़ने की योजना भी तेजी से कार्यान्वित की जा रही है। इस कनेक्टिविटी के लिए ग्रीन फील्ड लिंक एक्सप्रेसवे का निर्माण प्रस्तावित है।
औद्योगिक गलियारे का विकास
ग्रीन फील्ड लिंक एक्सप्रेसवे के दोनों ओर औद्योगिक गलियारे विकसित किए जाएंगे। इससे नई औद्योगिक इकाइयों को जमीन उपलब्ध कराई जाएगी, जो निवेशकों और निर्यातकों के लिए बेहद फायदेमंद साबित होगा। जेवर एयरपोर्ट, चोला रेलवे स्टेशन और गंगा-यमुना एक्सप्रेसवे की निकटता के चलते यह क्षेत्र औद्योगिक और आर्थिक गतिविधियों का नया केंद्र बन सकता है। साथ ही, रोजगार के नए अवसर भी उत्पन्न होंगे।
गंगा एक्सप्रेसवे से जुड़ाव का प्लान
पहले इस लिंक एक्सप्रेसवे को यमुना एक्सप्रेसवे के 48 किमी आगे से शुरू करने की योजना थी, लेकिन अब इसे संशोधित कर 24.8 किमी से शुरू किया जाएगा। यह बदलाव निर्माण लागत को कम करने के साथ ही परियोजना को समय पर पूरा करने में सहायक होगा। बुलंदशहर के रास्ते यह लिंक रोड जेवर एयरपोर्ट को गंगा एक्सप्रेसवे से जोड़ेगा, जिससे आगरा और प्रयागराज तक सीधी कनेक्टिविटी सुनिश्चित होगी। इस 76 किमी लंबे लिंक रोड को दो साल में पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है।
छह एक्सप्रेसवे से कनेक्ट होगा एयरपोर्ट
नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट यमुना एक्सप्रेसवे के किनारे बनाया जा रहा है। इसे यमुना एक्सप्रेसवे से जोड़ने के लिए 7.5 किमी लंबे इंटरचेंज का निर्माण पहले ही पूरा हो चुका है। दिल्ली-मुंबई ग्रीन फील्ड एक्सप्रेसवे के साथ एयरपोर्ट की कनेक्टिविटी का कार्य भी अंतिम चरण में है। इसके अलावा, ईस्टर्न पेरिफेरल एक्सप्रेसवे से जोड़ने के लिए यमुना एक्सप्रेसवे पर जीरो पाइंट पर इंटरचेंज का निर्माण कार्य एनएचएआई द्वारा शुरू किया गया है।
देश का पहला एयरपोर्ट छह एक्सप्रेसवे से जुड़ा होगा
नोएडा ग्रेटर नोएडा एक्सप्रेसवे, जो पहले से ही यमुना एक्सप्रेसवे से जुड़ा है, इस एयरपोर्ट की कनेक्टिविटी को और भी बेहतर बनाएगा। यह देश का पहला ऐसा एयरपोर्ट होगा, जिसे छह एक्सप्रेसवे से जोड़ा जा रहा है। इस परियोजना के पूरे होने से क्षेत्र में यातायात और औद्योगिक विकास को एक नई दिशा मिलेगी।