नोएडा प्राधिकरण के मुख्य कार्यपालक अधिकारी डॉ. लोकेश एम ने शहर के विभिन्न इलाकों का गहन निरीक्षण किया और सफाई व अनुरक्षण व्यवस्था की स्थिति का जायजा लिया। उनके साथ महाप्रबंधक (सिविल) ए.के. अरोड़ा, उप महाप्रबंधक (सिविल) विजय रावल, वर्क सर्किल-1, 2, 3 और 6 के वरिष्ठ प्रबंधक तथा जनस्वास्थ्य विभाग-2 के परियोजना अभियंता उपस्थित रहे।

सीईओ ने उद्योग मार्ग, एम.पी.-1 मार्ग, एम.पी.-2 मार्ग, डी.एस.सी. मार्ग, जोनल रोड-6 व 8, सेक्टर-8, 9, 11, 75, 76, 77 तथा कैलाश अस्पताल के सामने स्थित क्षेत्रों का निरीक्षण किया। इस दौरान उन्होंने सफाई, सड़क मरम्मत, ड्रेनेज, फुटपाथ, सीवर व्यवस्था और यातायात सुगमता से जुड़ी कई कमियां पाईं।
निरीक्षण के दौरान उन्होंने स्पष्ट निर्देश दिए कि सड़कों पर पैच रिपेयर कार्य सड़क के लेवल के अनुसार और स्मूथ तरीके से किया जाए। व्हीप-होल की सफाई, चोक्ड ड्रेनों का निराकरण, तथा सीवर प्रवाह की जांच तत्काल कराई जाए। सैक्टर-1 में सीवर प्रवाहित करने वाली औद्योगिक इकाई को नोटिस जारी करने के निर्देश भी दिए गए।

उन्होंने कहा कि कई स्थानों पर सड़क मोड़ असुविधाजनक हैं, जिससे दुर्घटनाओं की आशंका रहती है। सभी वर्क सर्किलों को निर्देशित किया गया कि सड़क मोड़ों, कल्वर्ट, फुटपाथ और ड्रेनेज की सुगमता पर विशेष ध्यान दिया जाए।
उद्योग मार्ग पर अवैध पार्किंग और मलबे की समस्या पर नाराजगी जताते हुए उन्होंने संबंधित कंपनियों को वाहनों को पार्किंग में शिफ्ट करने का आदेश दिया।जनस्वास्थ्य विभाग को क्लीनिंग ड्राइव चलाकर मलबा हटाने के निर्देश दिए गए।उन्होंने कहा कि उद्योग मार्ग पर श्रमिकों की आवाजाही को देखते हुए सड़क लेवल से 6 इंच ऊंचे फुटपाथ बनाए जाएं। सैक्टर-6 पुलिस चौकी के पास टूटे ड्रेनों और मैनहोल लीकेज की शिकायतों पर तत्काल कार्रवाई के निर्देश दिए गए।
सैक्टर-8, 9, 11 में फैले सी.एंड डी. वेस्ट, चोक्ड नालियां, और ओवरफ्लो की स्थिति पर उन्होंने जनस्वास्थ्य विभाग को दो दिन में सफाई कर रिपोर्ट देने को कहा। वहीं, जल विभाग को हिदायत दी गई कि पाइपलाइन बिछाने के बाद सड़कों की मरम्मत तत्काल कराई जाए, अन्यथा संबंधित अधिकारियों पर कार्रवाई होगी।
एम.पी.-1 और एम.पी.-2 मार्गों पर खराब सफाई व्यवस्था, टूटे टॉयलेट बोर्ड, अधूरे चौड़ीकरण कार्य और घटिया पेंटिंग कार्यों पर भी सीईओ ने असंतोष जताया। उन्होंने निर्देश दिया कि इन मार्गों पर लो-हाइट फुटपाथ बनाए जाएं, हाईमास्ट लाइट लगाई जाए, म्यूरल पेंटिंग को बेहतर किया जाए, और जेब्रा क्रॉसिंग को दोबारा पेंट कराया जाए।उन्होंने चेतावनी दी कि निरीक्षण के दौरान किसी भी स्थान पर सफाई कर्मचारी मौजूद न होना गंभीर लापरवाही है, और भविष्य में पुनरावृत्ति होने पर संबंधित सुपरवाइजर पर सख्त कार्रवाई की जाएगी।
भ्रमण के अंत में उन्होंने सैक्टर-76 और 77 में किए जा रहे बिटुमिन सड़क कार्य की गुणवत्ता की सराहना की और कहा कि ऐसे ही कार्य मानकों के अनुरूप पूरे शहर में कराए जाएं।सीईओ डॉ. लोकेश एम का यह निरीक्षण न केवल सफाई और अनुरक्षण व्यवस्था में सुधार की दिशा में एक बड़ा कदम है, बल्कि यह संदेश भी देता है कि नोएडा प्राधिकरण अब शहर की सड़कों, सफाई और नागरिक सुविधाओं पर किसी भी तरह की लापरवाही बर्दाश्त नहीं करेगा।