मथुरा में हुए भीषण सड़क हादसे के बाद यमुना एक्सप्रेसवे इंडस्ट्रियल डेवलपमेंट अथॉरिटी (YEIDA) ने बड़ा कदम उठाया है। नए निर्देशों के तहत एक्सप्रेसवे पर विजिबिलिटी 0 से 50 मीटर के बीच पहुंचते ही वाहनों को आगे बढ़ने की अनुमति नहीं दी जाएगी। सभी गाड़ियों को नजदीकी फैसिलिटी सेंटर पर रोककर रखा जाएगा और केवल विजिबिलिटी सामान्य होने के बाद ही उन्हें आगे जाने दिया जाएगा।
यह निर्णय सुप्रीम कोर्ट की रोड सेफ्टी मैनेजमेंट कमेटी के निर्देशों के बाद लिया गया है। मौसम विभाग की ओर से कोहरे को लेकर जारी अलर्ट को देखते हुए एक्सप्रेसवे के अंतर्गत आने वाले जिलों-गौतमबुद्ध नगर, बुलंदशहर, मथुरा, अलीगढ़, हाथरस और आगरा-के जिला प्रशासन को इस नियम का कड़ाई से पालन कराने के निर्देश दिए गए हैं।
गाइडलाइन के अनुसार यदि रात में विजिबिलिटी वाहन संचालन के मानक से कम पाई जाती है, तो इसकी पूर्ण जिम्मेदारी संबंधित जिला प्रशासन पर होगी। प्रशासन यह सुनिश्चित करेगा कि कोई वाहन कम विजिबिलिटी में आगे न बढ़े।
नई व्यवस्था के तहत एक्सप्रेसवे पर तैनात पुलिस और ट्रैफिक पुलिस बैरिकेड लगाकर वाहनों को आगे बढ़ने से रोकेंगी। दोनों ओर बने फैसिलिटी सेंटरों पर वाहनों को सुरक्षित रूप से खड़ा किया जाएगा। इन सेंटरों पर पार्किंग सहित यात्रियों के लिए आवश्यक सुविधाएँ उपलब्ध हैं।
सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए एक्सप्रेसवे पर रेस्पांस टीमों, एंबुलेंस और फायर ब्रिगेड की संख्या भी बढ़ाई जाएगी, जिससे किसी भी आपात स्थिति में तुरंत सहायता उपलब्ध कराई जा सके।