ऊर्जा मंत्री अरविंद शर्मा (ए.के. शर्मा) ने विद्युत विभाग के उच्च प्रबंधन और सभी अधिकारियों को सख्त निर्देश जारी किए हैं, जिनका उद्देश्य उपभोक्ताओं को बेहतर सेवाएं देना और विभागीय पारदर्शिता सुनिश्चित करना है। उन्होंने कहा कि राज्य में निर्बाध और निरंतर विद्युत आपूर्ति सुनिश्चित की जाए।
ए.के. शर्मा ने साफ तौर पर कहा कि छोटे बकायों के कारण उपभोक्ताओं का कनेक्शन न काटा जाए, और ऐसा करने वाले कर्मियों पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने यह भी चेताया कि कुछ लोगों के बकाया पर पूरे फीडर की बिजली काटना अनुचित है; ऐसे मामलों में बकायेदारों पर ही अलग से कार्रवाई की जाए।
उन्होंने स्पष्ट किया कि ट्रांसफार्मर बदलने और राजस्व वसूली की प्रक्रियाएं अलग हैं और इन्हें एक-दूसरे से नहीं जोड़ा जाना चाहिए। ट्रांसफार्मर जलने की सूचना में देरी और बिलिंग में त्रुटियों को गंभीर चिंता का विषय बताया गया।
बिजली चोरी रोकने के लिए बिजली काटने को गलत कदम बताया और कहा कि ध्यान बड़ी व संगठित चोरी पर केंद्रित होना चाहिए।
मंत्री ने संविदा कर्मियों की अनियमित नियुक्तियों को लेकर भी नाराजगी जताई। कुशल संविदा कर्मियों को हटाकर अनियमित नियुक्तियां की गई हैं, जिसकी जांच कर दोषियों पर कार्रवाई के निर्देश दिए गए हैं। उन्होंने सभी प्रक्रियाओं में पारदर्शिता और उपभोक्ता संतुष्टि को सर्वोच्च प्राथमिकता देने पर जोर दिया।